पंजाब : लुधियाना में शाहीन बाग की तरह केंद्र सरकार के खिलाफ शुरू होगा रोजाना प्रदर्शन 

Spread the news

विज्ञापन

भारत के संविधान के साथ किसी को भी खिलवाड़ नहीं करने देंगे : शाही इमाम पंजाब

मेराज आलम
ब्यूरो-लुधियाना, पंजाब

लुधियाना/बिहार : शहर की ऐतिहासिक जामा मस्जिद में आज पत्रकार सम्मेलन को संबोधित करते हुए शाही इमाम पंजाब मौलाना हबीब उर रहमान सानी लुधियानवी ने शहर की विभिन्न धार्मिक व सामाजिक संस्थाओं के सदस्यों से मीटिंग के बाद ऐलान किया कि केंद्र सरकार द्वारा बनाए गए काले कानून के खिलाफ दिल्ली के शाहीन बाग की तरह लुधियाना में भी रोजाना प्रदर्शन 12 फरवरी, बुधवार से जालंधर बाईपास चौंक में शुरू किया जाएगा।

शाही इमाम ने कहा कि जालंधर बाईपास को इस लिए चुना गया है क्योंकि वहां संविधान निर्माता बाबा साहिब डा. भीम राव अम्बेडकर जी की प्रतिमा लगी हुई है और यह आंदोलन संविधान को बचाने और प्रत्येक भारतीय के आत्म सम्मान के लिए लगाया जाएगा। शाही इमाम मौलाना हबीब उर रहमान लुधियानवी ने कहा कि इस रोजाना के प्रदर्शन की शुरुआत सभी धर्मों द्वारा प्रार्थना के बाद शुरू की जाएगी। उन्होंने कहा कि इस प्रदर्शन में शहर के सभी समुदाय के लोग हिस्सा लेंगे और सभी इस प्रदर्शन में आमंत्रित किया जाता है।

लुधियाना में विभिन्न मस्जिदों के सदस्यों के साथ एलान करते हुए शाही इमाम मौलाना हबीब उर रहमान सानी लुधियानवी

 उन्होंने कहा कि आइए हम सब मिलकर केंद्र की सरकार द्वारा संविधान खिलाफ रची जा रही साजिश को नाकाम बनाने के लिए एकजुट होकर आवाज बुलंद करें। 

शाही इमाम ने बताया कि यह प्रदर्शन रोजाना सुबह 10 से रात 10 बजे तक लगाया जाएगा जिसमें विभिन्न संगठनों के लोग वहां पर प्रदर्शन कर रहे महिलाऐं एवं पुरूषों को संबोधित किया करेंगे। उन्होंने बताया कि आंदोलन में शहर के विभिन्न इलाकों से बड़ी संख्या में रोजाना हमारी मां, बहनें, बेटीयां भी शामिल होगी। उन्होंने कहा कि आंदोलन सी.ए.ए., एन.आर.सी. व एन.पी. आर. जैसे कानूनों के खिलाफ हैं जिनको केंद्र की सरकार एक साजिश के तहत देश में धर्म और जाति के नाम पर लोगों को बांटने के लिए लाना चाहती है। शाही इमाम ने कहा कि भारत की जनता इस बात की गवाह है कि हम सभी धर्मों के लोगों ने मिलकर अंग्रेज के खिलाफ लड़ाई लड़ी थी। उन्होंने कहा कि लुधियाना में भी शाहीन बाग की तरह रोजाना का प्रदर्शन इस लिए शुरू करना जरूरी था क्योंकि देश के स्वतंत्रता संग्राम में अंग्रेज के खिलाफ भारत की संपूर्ण आजादी के लिए हिंदू, मुस्लिम, सिख, ईसाई, दलित एकता का पहला फतवा यहीं से मौलाना शाह अब्दुल कादिर लुधियानवी ने दिया था। 

एक सवाल के उत्तर में शाही इमाम ने कहा कि यहां पर बिरयानी का कोई प्रबंध तो नहीं है लेकिन अगर बिरयानी और पैसों का झूठा आरोप लगाने वाले हमारे पास लुधियाना में आए तो हम उन्हें बिरयानी जरूर खिला सकते हैं। उन्होंने कहा कि इस रोजाना के प्रदर्शन को सुचारू रूप से चलाने के लिए कमेटीयों को गठन किया गया है जिनमें प्रबंधक कमेटी, तालमेल कमेटी, सुरक्षा कमेटी, प्रेस कमेटी गठित शामिल होगी। 


Spread the news