बी पी मंडल की राजकीय जयंती में सरकार के किसी प्रतिनिधि का शामिल नहीं होना शर्मनाक हरकत-राठौर

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जिला मुख्यालय के बी पी मंडल स्मारक का जयंती के दिन भी मरम्मत व स्मारिका का प्रकाशन नहीं होना ओक्षी मानसिकता का परिचायक

मधेपुरा/बिहार : बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री और मंडल आयोग के अध्यक्ष बी पी मंडल इस धरती के वो लाल है, जिन्होंने इसके मान व सम्मान को आसमानी ऊंचाई दी, जिसपर हर दौर गर्व करेगा।

उक्त बातें वाम छात्र संगठन एआईएसएफके राष्ट्रीय परिषद् सदस्य सह बीएनएमयू व पीयू प्रभारी हर्ष वर्धन सिंह राठौर ने मंडल आयोग के अध्यक्ष बी पी मण्डल के 103 वी जयंती पर कही। वहीं छात्र नेता राठौर ने मंडल जी की राजकीय जयंती पर सरकार के किसी प्रतिनिधि के भाग नहीं लेने पर आश्चर्य व्यक्त करते हुए सरकार का निम्र स्तर का सोच बताया। उन्होंने कहा कि प्रोटोकॉल के तहत राजकीय जयंती समारोह में मुख्यमंत्री अथवा उनके प्रतिनिधि को भाग लेना चाहिए था। वहीं स्थानीय सांसद अथवा विधायक को भी जिला प्रशासन द्वारा आमन्त्रित करना व जनप्रतिनिधि को भाग लेना चाहिए वो भी नहीं हुआ।

राठौर दुख व आश्चर्य व्यक्त करते हुए कहा कि स्थानीय सांसद व कई विधायक क्षेत्र में जयंती के दिन उपस्थित रहे व अलग अलग कार्यक्रम में भाग लेते रहे लेकिन राजकीय जयंती समारोह में भाग लेना जरूरी नहीं समझा। बीपी मण्डल व बी एन मण्डल के नाम पर राजनीति कर सदन जाने वाले ही उनकी जयंती व पुण्यतिथि पर श्रद्धांजलि के लिए समय निकाल नहीं पाते हैं। वहीं मण्डल जयंती पर जिला मुख्यालय के बस स्टैंड के पास के बी पी मंडल स्मारक स्थल के टूटे फूटे स्मारक स्थल की मरम्मती नहीं कराने व विगत कुछ वर्षों की तरह इस वर्ष भी स्मारिका प्रकाशित नहीं करने को जिला प्रशासन की लापरवाही व मण्डल जयंती मनाने को औपचारिकता निभाना बताया।उन्होंने कहा कि यह सारी हरकत शर्मनाक है, इसमें सुधार की जरूरत है।संगठन किसी कीमत पर ऐसी हरकत को स्वीकार नहीं कर सकता।

मो० नियाज अहमद
ब्यूरो, मधेपुरा

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