मुजफ्फरपुर/बिहार : आज जिलाधिकारी प्रणव कुमार की अध्यक्षता में संभावित बाढ़ को लेकर समीक्षा बैठक की गई। बैठक के दौरान जिलाधिकारी द्वारा उपस्थित विभिन्न विभागों के पदाधिकारियों, तकनीकी अभियंताओं एवं वीडियो काॅन्फे्रंसिग के माध्यम से प्रतिभाग कर रहे प्रखण्ड/अंचल स्तरीय पदाधिकारियों के द्वारा अभी तक कि गई तैयारियों के बाबत अद्धतन स्थिति की जानकारी ली गई।। इस दौरान अपर समाहर्ता, मुजफ्फरपुर द्वारा संभावित बाढ़ के मद्देनजर की गई तैयारियों के बारे में विस्तृत प्रतिवेदन प्रस्तुत किया गया।
जिलाधिकारी द्वारा बताया गया कि नदियों का जल स्तर अभी सामान्य है लेकिन जिले में मई माह सामान्य निर्धारित वर्षा के सापेक्ष 5 गुनी वास्तविक वर्षा (245 मिमी) तथा जून माह में सामान्य निर्धारित वर्षा के सापेक्ष लगभक 2 गुनी (315.29 मिमी) वर्षा दर्ज की गई है, निष्चित रूप से यह जलवायु परिवर्तन का प्रभाव है। भारतीय मौसम विज्ञान विभाग के पूर्वानुमान के अनुसार इस वर्ष बिहार विशेषकर उत्तरी बिहार के जिलों में प्रभावी मानसून का पूर्वानुमान किया गया है, साथ ही नेपाल में गंडक व बागमती नदी के जल अधिग्रहण क्षेत्र में अच्छी वर्षा हो रही रही है जिससे जिले में बाढ की स्थिति बन सकती है।
जिलाधिकारी ने निर्देश दिया कि आसन्न बाढ़ के खतरे के मद्देनजर सभी पदाधिकारी सजग रहें तथा पिछले वर्ष आयी बाढ़ के अनुभवों से सीख लेते हुए पहले से सभी स्तरों पर आवश्यक व्यवस्थाए करना सुनिश्चित करें।
समीक्षा बैठक में जिलाधिकारी द्वारा दिए गए निर्देश : सभी अंचलाधिकारियों को निर्देशित करते हुए जिलाधिकारी ने कहा कि बाढ़ तैयारी संबंधी विभागीय मानक संचालन प्रक्रिया का अक्षरशः अनुपालन करना सुनिष्चित करें। अपने-अपने क्षेत्र अंतर्गत अवस्थित तटबंधों का नियमित रूप से निरीक्षण करें तथा स्थानीय जनप्रतिनिधियों व संभावित बाढ़ प्रभावितों से संवाद स्थापित करते रहें। चिन्हित किए गए शरणस्थलों पर बाढ़ प्रभावित परिवारों के समुचित आवासन हेतु सभी मूलभूत सुविधाओं का पुनः आंकलन कर लें तथा पेयजल, शौचालय, प्रकाश व्यवस्था आदि की उपलब्धता सुनिश्चित कर लें। नाव व्यवस्था पर संतोष जताते हुए जिलाधिकारी ने कहा कि बाढ़ प्रभावित लोगों के सुरक्षित निष्क्रमण तथा आवागमन हेतु प्रयुक्त की जाने वाली नावों पर निशुल्क सेवा की पट्टी, भारांक क्षमता का अंकन व लाल झंडी अवश्य लगा लें। नावों पर क्षमता से अधिक लोग आवागमन न करें, इस हेतु 1 वार्ड में 1 नाव की व्यवस्था करें। बाढ़ के दौरान सामुदायिक किचन के संचालन हेतु सभी स्तरों पर आवश्यक तैयारियां सुनिश्चित कर लें। सभी अंचलाधिकारी को निदेश दिया गया कि आपदा सम्पूर्ति पोर्टल पर जी0आर0 सूची में नये चिन्हित लाभुक परिवारों को पंचायत बाढ़ अनुश्रवण समिति से अनुशंसा के उपरान्त तीव्र गति से प्रविष्ट करें।
कार्यपालक अभियंता-बूढ़ी गंडक/गंडक/बागमती को निर्देशित किया गया कि प्रशासनिक पदाधिकारियों के निरीक्षण, अंचलाधिकारियों व जनप्रतिनिधियों से प्राप्त संवेदनशील व आक्रान्य बिंदुओं सूची को जिला आपदा प्रबंधन प्रशाखा, मुज0 द्वारा अविलम्ब मरम्मती व बाढ़ संघर्षात्मक कार्य कराए जाने हेतु मुख्य अभियंता तथा सभी कार्यपालक अभियंता को भेजा गया है। उक्त स्थलों पर मरम्मती कार्य कराए जाने के साथ तटबंधों की निगरानी करते रहें तथा अलर्ट की स्थिति में रहें। कार्यपालक अभियंता, बूढ़ी गंडक, मुज0 को निर्देशित किया गया कि कांटी अंचल के दादर कोल्हुआ के निकट अवस्थित टेनी बांध के 400 मी क्षतिग्रस्त्र भाग तथा मुशहरी अंचल के बैकटपुर एवं डुमरी के विभिन्न क्षतिग्रस्त्र भाग व नरौली पंचायत में अवस्थित स्लुईस गेट के सृदढ़ीकरण व मरम्मति की कार्रवाई यथाषीध्र करना सुनिश्चि त करें। कार्यपालक अभियंता, गंडक, मुज0 को निदेशित किया गया कि गंडक नदी के जलस्तर तथा वाल्मिकीनगर बैराज से किए जा रहे वाटर डिस्चार्ज की निरंतर निगरानी करते रहें। तिरहुत तटबंध व विभिन्न रिंग बाधों के क्षतिग्रस्त्र मरम्मति करने का निदेश दिया गया। कार्यपालक अभियंता, बागमती को निदेशित किया गया कि बागमती और लखनई नदी पर अवस्थित तटबंधों की निगरानी करते रहें। तटबंधों के क्षतिग्रस्त भागों की मरम्मती करने के साथ-साथ संवेदनशील ल स्थलों पर बाढ़ निरोधक सामग्री पर्याप्त मात्रा में रखना सुनिश्चित करें।
कार्यपालक अभियंता, जल निस्सरण, मुज0 को निर्देशित किया गया कि साहेबगंज अंचल अंतर्गत छरकी बांध व बीस फाटक स्थित देवसर नाला की मरम्मती करना सुनिष्चित करें। सरैयां अंचल अंतर्गत बाया नदी पर जैतपुर थाना व गिजास पंचायत के निकट क्षतिग्रस्त्र बांध की अविलम्ब मरम्मति करना सुनिष्चित करें। पारू अंचल के अंतर्गत बाया नदी पर बंदी गाव पर अवस्थित तटबंध के क्षतिग्रस्त भाग की मरम्मति भी कराए जाने का निदेष दिया गया। कार्यपालक अभियंता, जल निस्सरण द्वारा बताया गया कि देवसर बीस फाटक से बाया नदी का पानी गंडक नदी में डिस्चार्ज किया जा रहा है, बाया नदी के जलस्तर में कमी होते ही देवसर नाला मरम्मति का कार्य प्रारम्भ कर दिया जाएगा। सभी कार्यपालक अभियंता को जिलाधिकारी ने निदेशित करते हुए कहा कि तटबंध की सुरक्षा में प्रत्येक 1-1 किलोमीटर पर लगाए गए स्थानीय स्वयंसेवकों/व्यक्तियों की सूची नाम, पंचायत व मोबाइल नम्बर आदि विवरणों के साथ अविलम्ब जिला आपदा प्रबंधन प्रशाखा, मुजफ्फरपुर तथा स्थानीय अंचलाधिकारी को उपलब्ध कराएं ताकि सूचना तन्त्र को और प्रभावी बनाया जा सके तथा समन्वय स्थापित किया जा सके।
वहीं सिविल सर्जन, मुजफ्फुरपुर को निदेश दिया गया कि संभावित बाढ़ के दृष्टिगत आवष्यक दवाओं, आई0वी0, एन्टी वेनम, एन्टी रैबीज, हैलोजन टैबलेट, ब्लीचिंग पाउडर आदि की उपलब्धता सभी सी0एच0सी व रेफरल अस्पतालों में सुनिष्चित करें। बाढ के प्रति संवेदनषील क्षेत्रों में कोविड-19 टीकाकरण प्राथमिकता के अनुसार पहले कराएं ताकि जिले में कोविड संक्रमण के तीसरी लहर की स्थिति न होने पाए। मोबाइल मेडिकल टीम की प्रतिनियुक्ति कर लें तथा औराई, कटरा व गायघाट अंचल में प्रखण्ड मुख्यालय से कट जाने वाले पंचायतों में बाढ़ के दौरान प्रभावितों को चिकित्सा सुविधा उपलब्धता सुनिष्चित करने के लिए चिकित्सकीय सुविधाओं से सुसज्जित बोट एंबुलेंस का संचालन करना सुनिष्चित करें।
इसके अलावा कार्यपालक अभियंता, लोक स्वास्थ्य अभियंत्रण प्रमण्डल, मुजफ्फरपुर को निदेश दिया गया कि जिले में अबतक चिन्हित किए गए 212 शरणालयों में पेयजल व शौचालय की सुविधाओं का आंकलन करते हुए जिन शरणालयों में इन सुविधाओं की आवष्यकता है, वहां उपलब्ध कराएं। चापाकल मरम्मति एवं विसक्रंमण दलों के कार्यो की निगरानी करें ताकि सभी चापाकल संचालित रहें व जनसमुदाय को शुद्ध पेयजल की उपलब्धता सुनिश्चि त की जा सके। साथ ही सभी प्रखण्डों के वरीय प्रभारी पदाधिकारी को निदेश दिया गया कि इंसीडेंट कमांडर के रूप् में अपने-अपने आवंटित प्रखण्ड/अंचल में बाढ़ संबंधी समस्त तैयारियों का अनुश्रवण करें तथा समस्त आवश्यक व्यवस्थाएं कराना सुनिष्चित करें।