विश्व के सर्वकालिक हस्तियों के रूप में सदैव याद किए जायेंगे डॉ कलाम- अबू जफर

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मधेपुरा/बिहार : जनता के राष्ट्रपति, भारत रत्न, डॉ कलाम की जयंती जिला मुख्यालय के सार्क इंटरनेशनल स्कूल परिसर में मनाई गई। इस मौके पर डॉ कलाम की तस्वीर पर माल्यार्पण व पुष्पांजलि अर्पित कर उन्हें नमन किया गया। सार्क इंटरनेशनल स्कूल के डायरेक्टर अबू जफर ने डॉ कलाम की तस्वीर पर पुष्पांजलि अर्पित कर नमन करने के उपरांत अपने संबोधन में कहा कि डॉ कलाम विपुल प्रतिभा के धनी थे। उनका जीवन संघर्ष से सफलता तक के सफर का कारवां हैं। उन्होंने कहा कि वे विश्व के सर्वकालिक हस्तियों में सदैव स्मरणीय रहेंगे। कई परेशानियों और अभाव के बीच जीवन यापन कर देश के सर्वोच्च पद तक का सफर सर्वकालिक मिसाल के रूप में छात्र युवाओं को अपना जीवन लक्ष्य पाने में प्रेरित करेगा।

लेक्चर देते समय राष्ट्रपति प्रत्याशी बनने की सूचना और लेक्चर देते समय ही अचानक मौत रहा संयोग  :

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कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए सार्क इंटरनेशनल स्कूल के प्रिंसिपल हर्ष वर्धन सिंह राठौर ने कहा कि  भारत का सौभाग्य रहा कि उसकी धरा पर डॉ ए पी जे अब्दुल कलाम जैसी प्रतिभा उपजी और भारत की पहचान बन गई। मिसाइल मैन, जनता के राष्ट्रपति, सबके राष्ट्रपति के नाम से चर्चित डॉ कलाम ने अपनी कार्यशैली से राष्ट्रपति की परिभाषा ही नहीं बदली बल्कि राष्ट्रपति को जनता के करीब ला दिया। इक्कीसवीं सदी में योजनाओं के साथ भारत की कल्पना उनके जीवन का सर्वाधिक बड़ा लक्ष्य रहा उसे पूरा करना वर्तमान पीढ़ी का दायित्व है।

उन्होंने कहा कि बच्चों और शिक्षकों के प्रति उनके दिल में बड़ा सम्मान रहा। भारत में जो कुछ इनी गुनी हस्ती अजातशत्रु के रूप में स्थापित हुई डॉ कलाम उसी दुर्लभ कड़ी के हिस्सा रहे। विज्ञान व शक्ति के क्षेत्र में डॉ कलाम ने भारत को विश्व मंच पर स्थापित किया जिसका श्रेय संघर्ष के बल पर प्राप्त उनकी सफलता रूपी प्रतिभा है। वैज्ञानिक, राष्ट्रपति के साथ साथ बतौर शिक्षक भी वो काफी सक्रिय रहे और यह संयोग भी है कि लेक्चर देते समय ही राष्ट्रपति प्रत्याशी बनने की सूचना मिली और लेक्चर देते समय ही अचानक मौत हो गई। उनके बताए रास्ते के अनुसरण की जरूरत है।

 डॉ कलाम की जयंती पर विद्यालय के छात्र छात्राओं ने भी उनके जीवन से जुड़े विभिन्न पहलुओं को रेखांकित करते हुए उन्हें भारत का अनमोल विरासत वाला रत्न बताया।

इस मौके पर शिक्षक मदन मोहन झा, राजीव कुमार, तबस्सुम, नेहा, प्रसन्ना, आकिब, जेबा, पायल, चांदनी, सादिया, मिथिलेश, उबैद, श्याम, सुमित, प्रीति सहित बड़ी संख्या मे छात्र छात्राओं की उपस्थिति रही।


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