⇒दरौंदा से राजद प्रत्याशी उमेश कुमार सिंह को क्षेत्र के व्यवसायियों ने आज सेव व केला से तौल कर जरूरतमंदों के बीच फल का वितरण किया
⇒वरिष्ठ राजद नेता शिवानंद तिवारी अवध बिहारी चौधरी ने आज दरौंदा में की संयुक्त रूप से की प्रेस वार्ता
⇒अगले दो दिनों तक राजद के कई वरीय नेता भी करेंगे दरौंदा में कैंप
पटना/सिवान/बिहार : दरौंदा विधानसभा उपचुनाव 21 अक्टूबर को होने है। जिसको लेकर सभी पार्टियों ने जोर आजमाईश शुरू कर दी है। राजद प्रत्याशी उमेश कुमार सिंह के समर्थन में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव के दो दिवसीय सघन जनसंपर्क अभियान के बाद कार्यकर्ताओं में जोश व्याप्त है।
सीवान से लोकसभा के प्रत्याशी रही पूर्व सांसद शहाबुद्दीन की पत्नी हिना साहब, वरिय राजद नेता परमात्मा राम, अवध बिहारी चौधरी, राजद विधायक शिव शंकर यादव, सत्यदेव सिंह, नेमतुला, नेता अश्वथामा यादव, शाही जी, रणधीर कुमार सिंह उमेश सिंह के लिए सघन जनसंपर्क अभियान चला रहे ।
आज प्रखंड के विभिन्न गांव में राजद प्रत्याशी ने घर-घर जाकर लोगों से लालटेन पर बटन दबाने की अपील की । उमेश सिंह की पत्नी गुड़िया सिंह भी महिलाओं के जत्थे के साथ रुकुंदीपुर, ताकीपुर, भीखा बांध समेत दर्जनों गांव में महिलाओं के बीच जाकर पति उमेश सिंह को जिताने की अपील कर रही हैं।
सिसवन प्रखंड के रामगढ पंचायत में जनसंपर्क करते हुए राजद प्रत्याशी उमेश सिंह ने पत्रकारों से बातचीत करते हुए कहा कि छात्र-युवाओं और नौजवानों का भरपूर सहयोग एवं समाज के सभी वर्ग के लोगो का अपार समर्थन मिल रहा है। शोषित दलित अकड़ा पिछड़ा सभी वर्गों के लोग यहां बदलाव चाहते हैं। उन्होंने 12 साल बनाम 8 माह का नारा दिया है वे जानते हैं कि 8 महीने का उनका कार्यकाल काफी कठिन होगा और वे लोगों के आत्मसम्मान को जगायेंगे। क्षेत्र की विकास योजनाओं को पूरा कर आएंगे, गांव गांव में युथ कमेटियों का गठन करेंगे।
उमेश सिंह ने कहा कि वह किसी पर व्यक्तिगत टिप्पणी नहीं करते जो लोग भी उनके खिलाफ खड़े हैं उनको जनता कई बार मौका दे चुकी है और उन लोगों के कारण ही इस बार यहां उपचुनाव हो रहा है। वे चाहते हैं कि क्षेत्र के लोगों का आत्म सम्मान बढे। विकास योजनाओं में भाई भतीजावाद आते परिवारवाद का अंत हो, अपराध से मुक्ति मिले, क्षेत्र मॉडल विधानसभा के रूप में देश और देश में जाना जाए।
एक सवाल के जवाब में उमेश सिंह ने कहा कि वे जनता के बल पर चुनाव लड़ रहे एक आम आदमी हैं और उन्हें पता है कि कि कैसे विधानसभा का तकदीर बदल सकता है। जो लोग इस गलतफहमी में है कि उनके सुनहरे सपनों के झांसे में क्षेत्र की जनता आएगी तो उसका जवाब 21 अक्टूबर को मिलेगा।