लॉकडाउन – इस बार ऑनलाइन ही मानेगा रक्षा बंधन का पर्व

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अमित कुमार अंशु
उप संपादक

मधेपुरा/बिहार : भाई बहन के पवित्र प्रेम के प्रतीक रक्षाबंधन करीब आते ही राखी की दुकानों पर ग्राहकों की भीड़ बढ़ जाती है, लेकिन इस बार लॉकडाउन होने के कारण एक तो बाजारों में राखी की दुकान में भी कम दिख रही है, वहीं लोग दुकानों तक नहीं पहुंच रहे हैं, शहर में कुछ स्थानों पर राखी की दुकानें तो दिख रही है, लेकिन वहां ग्राहकों की मांग के अनुसार राखी उपलब्ध नहीं है, जिसके कारण लोग ऑनलाइन राखी मंगवा रहे हैं।

 यहां पर लोग अपने मनपसंद की राखी देखकर ऑर्डर कर रहे हैं। यहां 10 रुपये से लेकर पांच सौ रुपये तक की राखियां हैं, इसके अलावा चांदी व सोने की राखी भी ऑनलाइन उपलब्ध है। बहने राखी पसंद करने के बाद अपने घर या फिर दूर रह रहे भाई के पास भेज देती है।

घर में ही राखी पसंद करने की आजादी : जिन बहनों को राखी की सजी-धजी दुकानें देखने को नहीं मिलतीं है, उनके लिए इंटरनेट पर राखी का पूरा बाजार सजा हुआ है। राखी ही क्‍यों, यहां अक्षत-कुमकुम से लेकर सजी-सजाई पूजा की थाली भी उपलब्‍ध है। ऐसा नहीं है कि यह सबकुछ सिर्फ ई-मेल के जरिये प्रतीकात्‍मक रूप से बहनें अपने भाइयों तक पहुंचाती हैं। इंटरनेट पर आपके लिये पूजा की थाली से लेकर नारियल एवे मिठाई, चॉकलेट खरीदने एवे उसे भाई के घर पहुंचाने की सुविधा भी उपलब्‍ध है। इंटरनेट पर राखी भेजने की सुविधा ने विदेश व दूसरे प्रदेश में रहने वाले लोगों में भी उत्सुकता ला दी हैं। भाई-बहन के बीच होने वाली छोटी-छोटी तकरार, प्‍यार भरी नोक-झोंक, एक-दूसरे के प्रति समर्पण दुनिया के हर कोने में देखा जा सकता है। सचमुच भाई-बहन की रक्षा की यह बंधने वाली डोर अब डिजिटल हो गई है।

सोशल साइट पर छाया बधाइयों का संदेश :  रक्षा बंधन पर सोशल साइट अपने विभिन्न संदेशों से भरा हुआ है। फेस बुक व व्हाट्स एप पर बहन व भाई के प्यार का संदेश देता मैसेज लोगों को आकर्षित कर रहा है। मैसेज में जहां रक्षा बंधन के त्योहार का इतिहास नजर आ रहा है। वहीं दूरी पर बैठे बहन व भाई एक दूसरे को सोशल मीडिया पर शुभकामना का संदेश देने में पीछे नहीं हैं। जिसमें धर्म ग्रंथों में उल्लिखित रक्षा बंधन के संदर्भ का जिक्र करते हुये संदेश दिये जा रहे हैं। सोशल मीडिया पर यह संदेश का दौर त्योहार के करीब आने के साथ ही बढ़ता जा रहा है।

सीमाओं को पार करने की आजादी : रक्षाबंधन भी इंटरनेट की मदद से भारत की सीमाओं से बाहर निकलकर विश्‍व भर में भाई-बहनों के दिल में अपनी जगह बना रहा है। पिछले कुछ सालों से रक्षाबंधन के त्‍योहार पर इंटरनेट से रक्षाबंधन के कार्ड्स एवं राखी भेजने का प्रचलन काफी बढ़ता जा रहा है, जैसे-जैसे इंटरनेट की घुसपैठ हमारे दैनिक जीवन में बढ़ती गई, वैसे-वैसे इस माध्‍यम में भी हमारे पर्व त्योहार सजने लगे हैं। रक्षा बंधन का त्योहार भारत भर में बड़े उत्साह एवं धूमधाम से मनाया जाता है, इतना ही नहीं, पिछले कुछ समय से विदेशों में बसे भाई-बहन भी इस त्योहार को मनाने में कहीं कसर नहीं छोड़ रहे हैं। भाई-बहन के प्‍यार का प्रतीक रक्षाबंधन भी इंटरनेट की मदद से भारत की सीमाओं से बाहर निकलकर विश्‍वभर में भाई-बहनों के दिल में अपनी जगह बना रहा है। अब भाई की कलाई पर बांधी जाने वाली राखी यानी रेशम की डोर डिजिटल हो गई है। विदेशों में बसे भाई को बहनें बड़ी आसानी से चंद मिनटों में राखी भेजकर अपना कर्तव्‍य पूरा कर रही हैं।


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